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कोविड का नया वैरिएंट BF.7 कितना खतरनाक है? लक्षण क्या हैं? बचाव के लिए क्या करें जानिए सबकुछ

कोविड का नया वैरिएंट (New variant of Kovid BF.7) कई देशों में खतरनाक होता जा रहा है? यह कितना खतरनाक है? लक्षण क्या है? एवं बचाव के लिए क्या करना होगा जानिए सबकुछ

New variant of Kovid BF.7 | सब कुछ सामान्य चल रहा था आम जनमानस कोरोनावायरस के प्रति निश्चित हो गया था। इसी बीच कोरोना संक्रमण एक बार फिर लोगों को डराने लगा है। चीन में कोविड का नया वैरिएंट BF.7 हाहाकार मचाए हुए है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया भी लोकसभा में कह चुके हैं कि नए वैरिएंट से चुनौती बढ़ी है, हर प्रॉटोकॉल का पालन करना जरूरी है।

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी आज विधानसभा में चिंता जताई है। CM ने कहा- हमें सावधानी की जरूरत है। ऐसे में यह जानना जरूरी हो जाता है कि यह वैरीअंट (New variant of Kovid BF.7) कितना खतरनाक है इसके लक्षण क्या है एवं बचाव के क्या क्या उपाय अब आगे करना होंगे।

कोविड का नया वैरिएंट BF.7 कितना खतरनाक, लक्षण क्या है?

कोविड के नए वैरिएंट BF.7 के संक्रमण (New variant of Kovid BF.7) की शुरुआत सामान्य छींक, सर्दी, खांसी और बुखार (वायरल फीवर के लक्षण) से होगी। लेकिन, 4 – 5 दिन में ही नए स्ट्रेन का वायरस संक्रमित व्यक्ति के फेफड़ों तक को संक्रमित कर रहा है। नतीजतन कोविड के BF.7 स्ट्रेन वाले वायरस से संक्रमित व्यक्ति 6 से 8 दिन में गंभीर हालत में पहुंच रहा है। नए स्ट्रेन से संक्रमित होने का पता सेकेंड स्टेज में चल रहा है। इस वजह से चीन में BF.7 स्ट्रेन (New variant of Kovid BF.7) संक्रमित अधिकांश मरीजों को हॉस्पिटलाइजेशन की जरूरत पड़ रही है।

कोविड का यह वैरिएंट इसलिए ज्यादा खतरनाक है

कोविड के पुराने स्ट्रेन (New variant of Kovid BF.7) की तुलना में इसका ट्रांसमिशन रेट काफी ज्यादा है। कोविड के जितने भी पुराने स्ट्रेन थे, वह अधिकतम 6 से 8 लोगों को संक्रमित करते थे। लेकिन, कोविड के BF.7 स्ट्रेन संक्रमित व्यक्ति , संपर्क में आए 12 से 16 लोगों को संक्रमित कर सकता है।

नए संक्रमण से बचने के लिए यह करें

छींक, सर्दी, खांसी और बुखार की शिकायत होने पर कोविड टेस्ट (New variant of Kovid BF.7) कराएं। वायरल फीवर और कोविड, दोनों के लक्षण एक जैसे हैं। इसलिए संभव है कि कोविड की रिपोर्ट निगेटिव आए। बावजूद इसके जब तक सर्दी, खांसी, बुखार और छींक आने की परेशानी पूरी तरह से ठीक न हो जाए। भीड़ वाले स्थानों पर जाने से बचें। चिकित्सकों के अनुसार कोविड के नए वैरिएंट की जांच आईसीएमआर अप्रूव्ड एंटीजन और आरटीपीसीआर टेस्ट किट से की जा सकेगी। नया स्ट्रेन (New variant of Kovid BF.7) पुरानी किट से डिटेक्ट हो रहा है, इसलिए घबराएं नहीं जांच जरूर करवाएं।

कोविड के BF.7 वैरिएंट किसके लिए ज्यादा खतरनाक

देश में 90% वयस्क कोविड (New variant of Kovid BF.7) का टीका लगवा चुके हैं। इनमें कोविड की एंटीबॉडी मौजूद है। लेकिन, एंटीबॉडी किस लेवल की है? यह किसी को पता नहीं है। 12 साल से कम उम्र के बच्चों को इसके संक्रमण का खतरा ज्यादा है। इसकी वजह बच्चों को किसी भी प्रकार की कोई भी कोविड का टीका नहीं लगना है।

कोविड वैक्सीन (New variant of Kovid BF.7) का बूस्टर डोज लिए हुए अधिकांश लोगों को एक साल से ज्यादा समय हो गया है। इस डोज से सभी में एंटीबॉडी बनी है, जिसका अलग-अलग व्यक्ति में अलग-अलग लेवल होगा। इस कारण यह कहना सिरे से गलत है कि जिन्हें कोविड वैक्सीन का बूस्टर डोज लगा है, वह नए वैरिएंट से संक्रमित नहीं होंगे। बूस्टर डोज ले चुके व्यक्ति के संक्रमित होने पर संक्रमण गंभीर नहीं होगा।

एमपी में हर पॉजिटिव मरीज का होगा जीनोम टेस्ट

एमपी में अब हर हफ्ते कोविड (New variant of Kovid BF.7) की निगरानी रखने के लिए बैठक होगी। आज विधानसभा के शीतलकालीन सत्र में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि चीन से फिर कोविड आ रहा है। हमें सावधान रहने की जरूरत है। नए वैरिएंट पर सरकार सतर्क है।

नए कोविड पॉजिटिव व्यक्ति के सैंपल का जीनोम टेस्ट कराया जाएगा। टेस्ट के लिए सैंपल भोपाल के एम्स और ग्वालियर स्थित रक्षा अनुसंधान प्रयोगशाला (डीआरडीओ) भेजे जाएंगे। राज्य सरकार ने यह फैसला बुधवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय से देशभर में कोविड के संक्रमण का अलर्ट (New variant of Kovid BF.7) जारी होने के बाद लिया है। इसकी पुष्टि स्वास्थ्य संचालनालय के एक सीनियर अफसर ने की है।

स्वास्थ्य संचालनालय के अफसरों ने बताया कि चीन में कोविड का संक्रमण जिस वैरिएंट BF.7 के (New variant of Kovid BF.7) कारण बढ़ा है। उस वैरिएंट का एक भी केस अब तक मध्यप्रदेश में नहीं है। मप्र में इसके संक्रमण को बढ़ने से पहले नियंत्रित करने के लिए कोरोना पॉजिटिव मरीजों के सैंपल्स की शत-प्रतिशत जीनोम सीक्वेंसिंग कराई जाएगी। जीनोम टेस्ट की रिपोर्ट आने तक कोविड संक्रमित मरीज को आइसोलेशन में रहना होगा। ताकि संबंधित संक्रमित मरीज से स्वस्थ व्यक्ति संक्रमित न हो।

नए वैरिएंट के संक्रमण से बचने रहें सतर्क

पल्मोनोलॉजिस्ट डॉ. लोकेंद्र दवे ने बताया कि कोविड के नए वैरिएंट (New variant of Kovid BF.7) के संक्रमण से बचने के लिए बुजुर्ग और बच्चे (12 साल से कम उम्र के) सतर्क रहना पड़ेगा। दोनों श्रेणी के लोग कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करें। उन्होंने बताया कि बच्चों को अब तक कोरोना की कोई भी वैक्सीन नहीं लगी है। न ही इस उम्र में समूह के बच्चों का कोविड एक्सपोजर हुआ है। वहीं बुजुर्गों को कोविड वैक्सीन का बूस्टर डोज भी लग चुका है, लेकिन उनकी इम्यूनिटी युवाओं की तुलना में कमजोर है। इस कारण बच्चे और बुजुर्ग कोविड गाइडलाइन (New variant of Kovid BF.7) का पालन करें।

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राधेश्याम मालवीय

मैं राधेश्याम मालवीय Choupal Samachar हिंदी ब्लॉग का Founder हूँ, मैं पत्रकार के साथ एक सफल किसान हूँ, मैं Agriculture से जुड़े विषय में ज्ञान और रुचि रखता हूँ। अगर आपको खेती किसानी से जुड़ी जानकारी चाहिए, तो आप यहां बेझिझक पुछ सकते है। हमारा यह मकसद है के इस कृषि ब्लॉग पर आपको अच्छी से अच्छी और नई से नई जानकारी आपको मिले।
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